डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। कोरोना वायरस के बाद भारत के लिए चुनौती बनता जा रहा हैं, ब्लैक फंगस। देश में अब तक इसके 11 हजार 717 मामले दर्ज किए गए है। वहीं, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज अधिकारियों के साथ बैठक की। इस दौरान उन्होंने कहा कि, दुनिया के जिस कोने में यह दवाई उपलब्ध हो, उसे तुरंत भारत लाया जाएं। इस दवाई के उत्पादन के लिए भारत ने पांच और कंपनियों को इसे बनाने का लाइसेंस दिया है।
मीडिया रिपोर्टस के मुताबिक पीएम मोदी ब्लैक फंगस को लेकर लगातार बैठक कर रहे हैं। उन्होंने अधिकारियों को आदेश दिया है कि, दुनिया भर में फैले भारतीय दूतावास यह दवा अपने-अपने देशों से उपलब्ध करवाए। इस प्रक्रिया में दूतावास जुट गए है।
Liposomal Amphotericin B की जरुरत सबसे ज्यादा
भारत में इस दवा की अब तक तीन डोज राज्यों को भेजी गई है। लेकिन, इसके बाद भी यह दवा पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध नहीं है। कल केंद्रीय मंत्री डीवी सदानंद ने एक ट्वीट कर जानकारी दी कि राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में Amphotericin- B के 29 हजार 250 वायल आवंटित किए गए है। ये आवंटन राज्यों में मौजूदा केस के आधार पर किया गया है। इससे पहले भी राज्यों को दो बार खुराक दी गई थी। पहली खुराक 21 मई दी गई थी और दूसरी 24 मई को।
अमेरिकी कंपनी ने किया सहयोग
गलियड साइंसेज नाम की कंपनी से भारत को मदद मिल रही है। बता दें कि ये कंपनी भारत को रेमडेसिविर भी उपलब्ध करा रही है। अब ये कंपनी Amphotericin- B भी भारत को उपलब्ध करा रही है। अभी तक इसकी 1 लाख 21 हजार वायल भारत भेजी जा चुकी है और 85 हजार वायल भेजी जानी है। गलियड साइंसेज भारत को 10 लाख डोज देगी।
सबसे ज्यादा मामले गुजरात में
गुजरात में इस फंगस के 2 हजार 859 ,महाराष्ट्र में 2 हजार 770 ,आंध्र प्रदेश में 768 मामले, उत्तरप्रदेश में 701, केरल और झारखंड में 400 से ज्यादा मामले दर्ज किए गए।
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