डिजिटल डेस्क ( भोपाल)। संसद में बजट पेश करते हुए केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि पेट्रोल पर 2.5 रुपए प्रति लीटर और डीजल पर 4 रुपए प्रति लीटर के कृषि अवसंरचना और विकास उपकर (एआईडीसी) लगाने की घोषणा की है। इससे कीमतें नहीं बढ़ेगी और यह सेस फिलहाल कंपनियों से वसूला जाएगा। कुल मिलाकर उपभोक्ता पर कोई अतिरिक्त बोझ नहीं पड़ेगा क्योंकि वित्त मंत्री ने इन वस्तुओं पर बेसिक सीमा शुल्क को कम करने का भी प्रस्ताव दिया है।
वहीं, वित्त मंत्री ने कहा कि देशभर में सरकार 100 नए सैनिक स्कूल बनाएगी। इन स्कूलों के निर्माण में प्राइवेट पार्टनर भी सहयोग करेंगे। इसके अलावा उच्च शिक्षा के लिए केंद्र सरकार ने एक नया आयोग भी स्थापित करने का निर्णय लिया है। देश में केंद्रीय विद्यालयों के नेटवर्क में भी विस्तार किया जाएगा। वहीं केंद्रीय विश्वविद्यालयों की पहुंच भी देश के विभिन्न हिस्सों तक पहुंचाई जाएगी। इसके अंतर्गत केंद्र सरकार ने लेह में भी केंद्रीय विश्वविद्यालय खोलने का निर्णय किया है।
केंद्रीय वित्त मंत्री ने बजट पेश करने के दौरान नई शिक्षा नीति का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि भारत की नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति को सभी ने स्वीकार किया है। उच्च शिक्षा नीति को अधिक प्रभावी एवं सुलभ बनाने के लिए सरकार एक उच्च शिक्षा कमीशन का गठन करने जा रही है।
केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाते-बनाते भी ज़िंदगी गुजर जाएगी। कहने को तो बहुत कुछ है लेकिन इसमें(बजट) से कितना निकलेगा ये पता चलेगा: बजट में लद्दाख में केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाने के प्रस्ताव पर फारूक अब्दुल्ला, नेशनल कांफ्रेंस #UnionBudgetpic.twitter.com/TuWshEoihE
— ANI_HindiNews (@AHindinews) February 1, 2021
इसके साथ ही वित्त मंत्री ने कहा कि डिजिटल इंडिया के लिए 3700 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है। वित्त मंत्री ने कहा कि 100 नए सैनिक स्कूल बनेंगे। इसके लिए प्राइवेट सेक्टर की मदद ली जाएगी। अर्थात देश में बनने वाले 100 नए सैनिक स्कूलों का निर्माण पीपीपी मॉडल के आधार पर किया जाएगा। वहीं बजट में राष्ट्रीय भाषा को महत्व देते हुए केंद्र सरकार ने देश में एक राष्ट्रीय भाषा अनुवाद मिशन शुरू करने का निर्णय लिया है।
केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने कहा कि 2020-21 के बजट में 6 स्तंभों का प्रस्ताव है। इनमें स्वास्थ्य और कल्याण, भौतिक और वित्तीय पूंजी एवं अवसंरचना, आकांक्षी भारत के लिए समावेशी विकास, मानव पूंजी में नवजीवन का संचार करना, नवप्रवर्तन और अनुसंधान एवं विकास और न्यूनतम सरकार और अधिकतम शासन शामिल है।
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